एशिया कप 2025 के भारत बनाम ओमान मुकाबले में भले ही रिजल्ट तय लग रहा था, लेकिन टॉस के दौरान कप्तान सूर्यकुमार यादव ने जो किया, उसने सबका ध्यान खींच लिया। उन्होंने एक खिलाड़ी का नाम भूलकर टॉस को फुल ऑन एंटरटेनमेंट बना दिया।
नाम भूल गए
टॉस जीतने के बाद जब रवि शास्त्री ने पूछा कि टीम में क्या बदलाव हैं, सूर्यकुमार बोले – “हमने दो बदलाव किए हैं – हर्षित आ रहे हैं… और एक और खिलाड़ी आ रहे हैं…”। नाम दिमाग से जैसे उड़ गया हो।
मॉर्कल से मदद
जब सूर्यकुमार को नाम याद नहीं आया, तो उन्होंने पास खड़े बॉलिंग कोच मोर्ने मोर्कल से ही पूछ लिया। कुछ सेकेंड्स बाद हँसते हुए बताया गया कि वो खिलाड़ी अर्शदीप सिंह हैं।
“मैं रोहित बन गया हूँ!”
इस पूरे मज़ाकिया पल के बाद सूर्यकुमार ने खुद ही कहा – “मैं भी अब रोहित बन गया हूँ!”। यह लाइन सुनते ही सभी को रोहित शर्मा की याद आ गई, जिन्हें प्लेइंग इलेवन भूलने के लिए सोशल मीडिया पर कई बार चिढ़ाया गया है।
पुरानी यादें
रोहित शर्मा जब टीम इंडिया या मुंबई इंडियंस के कप्तान होते थे, तो कई बार टॉस पर प्लेइंग XI या बदलावों को लेकर कन्फ्यूजन हो जाता था। सूर्यकुमार की ये मस्ती उसी ट्रेंड को आगे बढ़ाती दिखी – लेकिन इस बार खुद की हँसी उड़ाकर।
दोस्ती का पल
टॉस के बाद सूर्यकुमार और ओमान कप्तान जतिंदर सिंह के बीच गर्मजोशी से मुलाकात हुई। दोनों ने हाथ मिलाया, हँसी मज़ाक किया और हल्के अंदाज़ में इस मुकाबले को शुरू किया।
टीम में बदलाव
इस मुकाबले में भारत ने दो बदलाव किए – जसप्रीत बुमराह और वरुण चक्रवर्ती को आराम दिया गया, जबकि उनकी जगह हर्षित राणा और अर्शदीप सिंह को प्लेइंग इलेवन में शामिल किया गया।
भारत की XI
अभिषेक शर्मा, शुभमन गिल, संजू सैमसन, हार्दिक पंड्या, सूर्यकुमार यादव (कप्तान), तिलक वर्मा, शिवम दुबे, अक्षर पटेल, हर्षित राणा, अर्शदीप सिंह, कुलदीप यादव
ओमान की XI
जतिंदर सिंह (कप्तान), आमिर कलीम, हम्माद मिर्ज़ा, विनायक शुक्ला (विकेटकीपर), शाह फैसल, मोहम्मद नदीम, आर्यन बिष्ट, जिक्रिया इस्लाम, शकील अहमद, समय श्रीवास्तव, जितेन रमनंदी
मुकाबले की अहमियत
भारत पहले ही सुपर 4 के लिए क्वालिफाई कर चुका था, इसलिए यह मुकाबला सिर्फ लय बनाए रखने और नए खिलाड़ियों को आज़माने का मौका था। ओमान के लिए यह सम्मान की लड़ाई थी।
माहौल में मज़ा
सूर्यकुमार की ये टॉस वाली “भूल” दर्शाती है कि टीम इंडिया का ड्रेसिंग रूम माहौल कितना पॉज़िटिव और हल्का-फुल्का है। कप्तान होने के बावजूद वह हँसना जानते हैं और यही रोहित शर्मा की सबसे बड़ी खासियत भी रही है।